IPO आवंटन क्या है और क्यों जरूरी है?
जब कोई कंपनी शेयर बाजार में पहला बार आती है, तो उसका स्टॉक बेचने की प्रक्रिया को IPO (Initial Public Offering) कहा जाता है। लेकिन केवल शेयर बेच देना पर्याप्त नहीं; उन्हें सही लोगों को सही मात्रा में देना भी ज़रूरी है। यही काम IPO आवंटन करता है।
सरल शब्दों में, आवंटन वो चरण है जहाँ कंपनियों, अंडरराइटर्स और ब्रोकरों के बीच तय होता है कि किस निवेशक को कितना शेयर मिलेगा। अगर आप इस चरण को समझेंगे, तो आप बेहतर कीमत पर शेयर पकड़ सकते हैं और पहले दिन के मुनाफे के चांस बढ़ा सकते हैं।
IPO आवंटन की प्रक्रिया
आवंटन तीन मुख्य कदमों में बाँट सकते हैं:
- ब्रोकर की भूमिका: कोई भी निवेशक सीधे कंपनी से शेयर नहीं खरीदता। वह अपने ब्रोकर (डिमैट अकाउंट वाला) के ज़रिए आवेदन करता है। ब्रोकर सभी इच्छुक निवेशकों का डेटा इकट्ठा करके अंडरराइटर को भेजता है।
- अंडरराइटर का निर्णय: अंडरराइटर, जो अक्सर बड़े इन्वेस्टमेंट बैंक होते हैं, उस IPO की कुल मांग देखता है। अगर मांग ओवरस्क्रिप्शन (डिमांड से ज्यादा आवेदन) है, तो शेयरों को कई निवेशकों में बाँटना पड़ता है।
- रैंकिंग और प्रोराटा आवंटन: कई ब्रोकर रैंकिंग सिस्टम इस्तेमाल करते हैं – जैसे उच्चतम आवेदन राशि, लम्बी निवेश इतिहास, या बड़ी क्लाइंट बेस वाले निवेशकों को प्राथमिकता मिलती है। फिर शेष शेयरों को प्रोराटा (अनुपातिक) तरीके से बाँटा जाता है।
अगर IPO बहुत हिट है, तो अधिकांश छोटे निवेशकों को सिर्फ़ कुछ शेयर या कभी‑कभी नहीं मिलते। इसलिए, बड़े ब्रोकर या संस्थागत निवेशकों को अक्सर अधिक शेयर मिलते हैं।
सफल IPO निवेश के लिए आसान टिप्स
1. हाई‑डिमांड IPO को पहचानें: जब फॉर्म 20B या कंपनी की प्रॉस्पेक्टस में बड़ी राइड‑ऑफ़ ब्रोकर लिस्ट हो, तो समझिए कि वह IPO पॉपुलर होने वाली है।
2. ब्रोकर की रैंकिंग जाँचें: कुछ ब्रोकर हाई‑फ़्लाई ग्राहकों को बेहतर रैंक देते हैं। अगर आपका ब्रोकर के पास मजबूत क्लाइंट बेस है, तो आवंटन की संभावना बढ़ती है।
3. उचित आवेदन राशि रखें: बहुत बड़ी राशि लगाने से अंडरराइटर आपके आवेदन को रद्द कर सकता है, जबकि बहुत छोटी राशि से आपको शेयर नहीं मिल सकते। आम तौर पर 1‑5 लाख रुपये की सीमा में रहना ठीक रहता है।
4. ऑनलाइन प्लेटफ़ॉर्म देखें: कई फाइनेंशियल साइट्स IPO की बुकबिल्डिंग स्टेटस को रियल‑टाइम दिखाती हैं। यह आपको बताएगा कि कितनी लॉट्स बुक हुए हैं और आपका आवेदन कब तकड कर सकता है।
5. सूचना में अपडेट रहें: IPO का ग्रेड, कलर कोड, और ऑडिट रिपोर्ट अक्सर बदलते हैं। यदि कंपनी का ग्रेड ‘A’ है तो जोखिम कम होता है, लेकिन हमेशा प्रॉस्पेक्टस पढ़ें।
इन टिप्स को अपनाकर आप IPO आवंटन में ‘सफलता’ की संभावना बढ़ा सकते हैं। याद रखें, हर IPO में जीत‑हार का जोखिम रहता है, इसलिए अपनी जोखिम सहनशीलता के अनुसार ही निवेश करें।
अंत में, अगर आप IPO आवंटन को समझते हुए सही ब्रोकर चुनते हैं, अपनी निवेश राशि को संतुलित रखते हैं और नवीनतम समाचार पर नज़र रखते हैं, तो पहले दिन के ‘बूम’ का हिस्सा बनना आपके लिए आसान हो जाएगा।